समय

समय

कौन समय ? कैसा समय ?

समय एक ऐसा,

करता नहीं इंतज़ार किसी का ,

जल्दी आता, जल्दी जाता ।

गर करें इंतज़ार किसी वार का ,

कभी नहीं वो जल्दी आता ।

न किसी का दोस्त, न किसी का दुश्मन ।

फिर भी वह साथ हमारे , पास हमारे ।

गर हैं हम साथ समय के, तो दुनिया कदमों मे ;

गर दूर समय के, तो अस्तित्व खतरे मे ।

समय का तुम करों उपयोग ।

करों सदुपयोग, बनो महान,

छू लों आसमान, पा लो मान ।

पहुचों बुलंदी पर, बनो महान

अंकित करवाओ अपना नाम,

करो देश को भी महान ।

करो देश को भी महान ।

समय एक एसा, जल्दी आता जल्दी जाता ।

शिक्षक:(मुकेश जोशी)
हिन्दी शिक्षक( आत्मीय विद्यामंदिर )